पत्रकारिता के एक युग का अंत। सत्य, सादगी और ईमानदारी के प्रतीक वरिष्ठ पत्रकार कृष्ण किशोर पांडे इस दुनिया को अलविदा कह गये।

- राजेश कुमार, वरिष्ठ पत्रकार

भारतीय पत्रकारिता को समृद्ध व मजबूत बनाने वाले वरिष्ठ पत्रकार कृष्ण किशोर पांडेय जी (गुरूजी)  इस दुनिया को अलविदा कह गये। पत्रकार...


कांग्रेस को राष्ट्रीय स्तर पर मजबूती देने में जुटी सोनिया गांधी। राहुल के नेतृत्व में पद-यात्रा तो अध्यक्ष पद का कमान मल्लिकार्जुन खड़गे को।

- राजेश कुमार 

देश की सबसे पुरानी पार्टी कांग्रेस पार्टी (Congress) के नाम से चर्चित भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस को नया अध्यक्ष मिल गया। पार्टी के वरिष्ठ नेता मल...


भाषाई समन्वय का आधार बन सकती है आधुनिक हिंदी: वरिष्ठ पत्रकार आलोक मेहता।

(हिंदी दिवस के मौके पर  दैनिक हिंदुस्तान के संपादक आलोक मेहता के महत्वपूर्ण लेख प्रकाशित हुए हैं समाचार4मीडिया.कॉम में। जो निम्नलिखित है। उन्होंने अपने लेख से राष्ट्रीय एकता को दर्शाते...


लोकसभा चुनाव 2024 : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के मुकाबले विपक्ष का चेहरा बन सकते हैं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार। इसे लेकर बीजेपी में मंथन।

- राजेश कुमार 

भारत का अगला प्रधानमंत्री कौन होगा? प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लगातार तीसरी बार प्रधानमंत्री बनेंगे या मेन-फ्रंट से कोई प्रधानमंत्री होगा। यह भवि...


चीन का जनसंख्या संकट भारत को इससे क्या सीखना चाहिए : वरिष्ठ पत्रकार उपेन्द्र प्रसाद।

थॉमस माल्थस ने जब जनसंख्या का अपना सिद्धात 1788 इस्वी में पेश किया था, तो दुनिया डर गई थी। माल्थस का कहना था कि जनसंख्या बहुत तेजी से बढ़ रही है, लेकिन उसके अनुपात में खाद्यान्न का उत्पादन न...


क्यों मात खा गए उद्धव ठाकरे भाजपा एकमात्र कारण नहीं हो सकती - वरिष्ठ पत्रकार उपेन्द्र प्रसाद।

आखिरकार उद्धव ठाकरे मात खा ही गए। उनसे मुख्यमंत्री पद छिन चुका है। पार्टी भी छिन जाने का खतरा मंडरा रहा है। जो शिवसैनिक विधायक ठाकरे के साथ रह गए हैं, उनकी विधानसभा सदस्यता पर भी खतरा मंडरा...


पुराने ज़ख्मों को दोबारा मत खुरेदें, वर्तमान के बारे में सोचने का समय है - सांसद कपिल सिब्बल।

एक राष्ट्र के अतीत को कई उद्देश्यों के लिए पुनर्जीवित किया जा सकता है। महत्व की ऐतिहासिक घटनाएं अतीत को वर्तमान से जोड़ने में मदद कर सकती हैं। इतिहास हमें भविष्य के लिए भी सबक सिखाता है, ऐसा न हो क...


बुलडोजर प्रकरण : कानून बनाने वाले हीं बने कानून तोड़ने वाले - पूर्व केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल।

मेरा घर सिर्फ ईंट-पत्थर का ढांचा नहीं है। इसकी चिनाई और सफेदी वाली दीवारें भी कहानी सुनाने नहीं आतीं। इसके गर्भ में वह सब है जो मैं संजोता हूं। यह मुझे धधकते सूरज की गर्मी से बचाता है, मुझे सर्द रा...


सुप्रीम कोर्ट ने राजद्रोह कानून पर रोक लगाई। कहा कानून की समीक्षा तक कोई नया केस दर्ज न हो।

11 मई को राजद्रोह कानून को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने ऐतिहासिक निर्णय दिया है। सुप्रीम कोर्ट ने 1870 से चली आ रही इस कानून पर रोक लगा दिया और आदेश दिया कि धार 124-ए के तहत अब कोई नई केस दर्ज नहीं की जाय...


सादगी के प्रतीक विश्व के प्रतिष्ठित उद्योगपति रतन टाटा को भारत-रत्न कब तक!

विश्व के जानेमाने प्रतिष्ठित भारतीय उद्योगपति रतन टाटा सादगी के प्रतीक हैं। एक बार फिर वे सुर्खियों में हैं। 18 मई को वे टाटा-नैनो (TATA NANO)से मुंबई ताज होटल पहुंचे बिना सुरक्षा कर्मियों ...


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