कांग्रेस लीडर राहुल गांधी की संसद सदस्यता रद्द। उन्होंने कहा कि 'मैं भारत की आवाज के लिए लड़ रहा हूं, मैं हर कीमत चुकाने को तैयार हूं।

Date: 25/03/2023

ग्लोबल खबर globalkhabar.com 

मोदी सरनेम के मामले में सूरत कोर्ट के फैसले के बाद, कांग्रेस नेता राहुल गांधी की संसद सदस्यता 24 मार्च को रद्द कर दी गई।  इस बारे में लोकसभा सचिवालय ने अधिसूचना भी जारी कर दी। इसको लेकर भारतीय राजनीति में एक बार फिर उबाल आ गया है। वे केरल की वायनाड से सांसद थे। 23 मार्च के दोपहर लगभग साढे बारह बजे  सूरत कोर्ट का फैसला आया और लगभग 26 घंटे बाद यानी 24 मार्च के दोपहर 2.30 बजे  उनकी संसद की सदस्यता रद्द कर दी गई। सजा सुनाये जाने के लगभग 28 मिनट बाद राहुल गांधी को जमानत दे दी गई और ऊपरी अदालत में अपील करने के लिये 30 दिनों का समय दिया गया। 

सदस्यता रद्द किये जाने के मामले में सुप्रीम कोर्ट के एक फैसले का हवाला दिया जा रहा है। दरअसल सुप्रीम कोर्ट ने 11 जुलाई 2013 को फैसला दिया था कि यदि कोई विधायक या सांसद अदालत द्धारा दोषी करार दिया जाता है और कम से कम दो साल या इससे अधिक की सजा होती है तो दोषी करार दिये जाने की तारीख से हीं अयोग्य माना जायेगा। अदालत ने यह फैसला लिली थॉमस बनाम भारत सरकार केस मामले में दिया था। इससे पहले नियम यह था कि अदालत का आखिरी फैसला आने तक सदस्यता खत्म नहीं किया जायेगा।

- वायनाड संसदीय सीट से सांसद रहे राहुल गांधी सूरत कोर्ट के फैसले को ऊपरी अदालत में चुनौती दे सकते हैं।

- राहुल गांधी की सदस्यता रद्द होने के बाद वा

- यनाड में उपचुनाव कराया जा सकता है।

- यदि ऊपरी अदालत अर्थात उच्च न्यायलय व उच्चतम न्यायलय सजा को बरकरार रखता है तो राहुल गांधी 8 साल तक चुनाव नहीं लड़ पायेंगे। 

- 8 साल तक चुनाव नहीं लड़ पायेंगे का तात्पर्य यह है कि 2 साल की सजा और 6 साल की अयोग्यता।

 

बहरहाल इस मामले में कांग्रेस लीडर राहुल गांधी ने कहा कि 'मैं भारत की आवाज के लिए लड़ रहा हूं, मैं हर कीमत चुकाने को तैयार हूं।' कांग्रेस पार्टी ने पार्टी नेता के खिलाफ किये गये  एक्शन की वैधानिकता पर भी सवाल उठाया और कहा कि  राष्ट्रपति ही चुनाव आयोग के साथ विमर्श कर किसी सांसद को अयोग्य घोषित कर सकते हैं।

 

Rajesh Kumar Global Khabar

 

 



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