कांग्रेस लीडर राहुल गांधी को कांग्रेस अध्यक्ष बनना चाहिये - समाजवादी लीडर शरद यादव।

Date: 09/04/2022

राजेश कुमार,  ग्लोबल खबर globalkhabar.com

 कांग्रेस लीडर राहुल गांधी ने समाजवाद व सामाजिक न्याय के केंद्रीय धूरी शरद यादव से मुलाकात कर उनके स्वास्थ्य के बारे में जाना और प्रसन्नता व्यक्त की कि अब वे  स्वस्थ हैं।  इस मुलाकात के  बाद मीडिया से बातचीत में महत्वपूर्ण रूप से तीन बातें सामने आई  - 1. शरद यादव ने राहुल गांधी को कांग्रेस अध्यक्ष बनाये जाने की वकालत की। 2. शरद यादव और राहुल गांधी ने देश की अर्थव्यवस्था पर चिंता जताई और  3.  दोनो हीं नेताओं की मुलाकात से मजबूत राजनीतिक गठबंधन के संकेत मिले। आईये इसे समझते हैं सिलसिले वार तरीके से।      

 राहुल गांधी को कांग्रेस अध्यक्ष बनाया जाना चाहिये :

जनता दल के पूर्व अध्यक्ष व पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने कहा कि कांग्रेस लीडर राहुल गांधी को हीं पार्टी अध्यक्ष बनाया जाना चाहिये। वे 24 घंटे अपनी पूरी क्षमता पार्टी को दे रहे हैं, ऐसे में उन्हें हीं बनाया जाना चाहिये।  उन्होंने  कहा कि राहुल  गांधी को क्यों नहीं कांग्रेस अध्यक्ष बनाया जा सकता है? राहुल के कांग्रेस अध्यक्ष बनने के बाद हीं कुछ बड़ा किया जा सकेगा ?  उन्होंने कहा कि "कांग्रेस को पिछड़े और कमजोर वर्गों को साथ लाना चाहिए, जो पहले कांग्रेस के साथ था. मैं चाहता हूं कि राहुल जी कांग्रेस के अध्यक्ष बनें और नेतृत्व प्रदान करें."  

इंजीनियरिंग में  गोल्ड मेडल प्राप्त कर चुके शरद यादव राजनीति के भी गोल्ड मेडलिस्ट हैं। वे कोई भी बात बिना ठोस आधार के नहीं कहते। उनके कथन में राजनीति के बड़े अर्थ समाहित होते हैं। राहुल के बारे में उन्होंने जो कहा वह कांग्रेस पार्टी और सहयोगी दलों के लिये साफ  संकेत यही हैं कि विपक्ष तभी मजबूत हो सकता है जब राहुल गांधी कांग्रेस अध्यक्ष बने। इनके बिना राष्ट्रीय स्तर पर  गठबंधन नहीं हो सकता। वहीं कांग्रेस पार्टी के लिये भी यही संकेत है कि अन्य सहयोगी दल कांग्रेस से राहुल के बिना और किसी को अपना मुखिया नहीं मानेगा।          

 रीड की हड्डी टूट चुकी है भारतीय अर्थव्यस्था की :

 कांग्रेस लीडर राहुल गांधी और पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद यादव ने भारतीय अर्थव्यवस्था को  लेकर चिंता जताई। राहुल गांधी ने कहा कि बीते 2-3 सालों से देश से सच छिपाया जा रहा है। नफरत फैलाई जा रही है। रोजगार सृजन की रीढ की हड्डी टूट चुकी है । जो हालात श्रीलंका की हुई है वह भारत की भी हो सकती है।  धीरे धीरे सामने आयेगा। उन्होंने कहा कि दूसरे देश और भारतीय अर्थव्यवस्था में अंतर है। हम दूसरे देश की  तहर व्यवथा को नहीं अपना सकते । उन्होंने मीडिया को भी निशाना बनाया और कहा कि मीडिया भी सच सामने नहीं ला रहा है। विकास के लिये शांति जरूरी है।  

इससे साफ है कि  कांग्रेस पार्टी समेत विपक्ष ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आर्थिक नीतियों से संतुष्ट नहीं है। आरोप है कि बीजेपी की सरकार ने रोजगार सृजन और आर्थिक विकास की जो रीढ श्रृखंला है उसे हीं खत्म कर दिया है। तीन-चार साल में हीं इसके भंयकर परिणाम दिखेंगे।  

 

शरद यादव  और राहुल गांधी के मुलाकात के राजनीतिक महत्व :

 समाजवादी लीडर शरद यादव को रानजीति का भीष्मपितामाह कहा जाये तो गलत नहीं होगा। जनता परिवार और समाजवाद राजनीति के वे पिलर हैं। केंद्र रहे हैं।  साल 2018 में वे  जेडीयू से  अलग हो कर लोकतांत्रिक जनता दल का गठन किया था और बीते कुछ दिनों पहले उन्होंने अपनी पार्टी लोकतांत्रिक जनता दल का विलय जनता दल में कर दिया। वे  एक ऐसे राजनीतिज्ञ हैं जो समाजवाद और सामाजिक न्याय के केंद्र के रूप में स्थापित हैं। 

अभी वे किसी भी सदन के सदस्य नहीं है। इसलिये सरकार उनपर सरकारी मकान खाली करने के लिये दबाव डाल रही है। मामला अदालत में है। सुप्रीम कोर्ट ने समय दिया है। उनकी लड़ाई देश के प्रतिष्ठित एडवोकेट कपिल सिब्बल लड़ रहे हैं। लेकिन सवाल उठता है कि जो व्यक्ति सालो साल से लोकसभा या राज्य सभा का सदस्य रहा हो। भारतीय राजनीति के केंद्रीय राजनीतिज्ञ में से  एक हैं।  लोकतंत्र को मजबूत बनाने में सर्वोच्च योगदान दिया हो और अस्वस्थ्य हैं। ईमानदार राजनीतिज्ञ है ऐसे हस्ती को तुरंत मकान खाली करवाना क्या उचित है?  क्या देश के तमाम सरकारी फ्लैट खाली करा लिये गये हैं?  इस बारे में सरकार को विचार करना चाहिये। 

खैर यह तो साफ हो गया है कि विपक्ष का एक बड़ा हिस्सा यह मानता है कि प्रधानमंत्री  नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली बीजेपी को राष्ट्रीय स्तर पर कोई टक्कर दे सकता है तो वह कांग्रेस लीडर राहुल गांधी हीं है। लेकिन आज की तारीख में  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व  वाली बीजेपी को चुनौती देना  बेहद मुश्किल है क्योंकि यहां पर सोशल  इंजीनियरिंग का मामला सर्वोच्च स्थान हासिल किये हुए हैं शायद इसलिये राजनीति के भीष्मपितामाह कहे जाने वाले शरद यादव ने राहुल गांधी को सलाह दी है कि वे  कांग्रेस के साथ पिछड़े व कमजोर वर्ग  को जोड़ने की सलाह दी। राहुल गांधी भी बीते कुछ वर्षों से इस  ओर कार्यरत  हैं।        

बहरहाल, राहुल गांधी ने समाजवादी लीडर शरद यादव  की तारीफ की। और कहा कि मैंने उनसे बहुत कुछ सीखा है। वे मेरे राजनीतिक गुरू हैं।  वे काफी समय से अस्वस्थ थे। उन्हें स्वस्थ देखकर प्रसन्नता हो रही है। दोनों नेताओं की यह मुलाकात विपक्ष राजनीति की रीढ साबित होगा।   



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